UP Board Exam 2025: 33 साल की महिला हाईस्कूल परीक्षा देते मिली, डीआईओएस ने की कार्रवाई
UP Board Exam 2025 उत्तर प्रदेश के धनौरा तहसील में एक चौंकाने वाली घटना सामने आई है। सूरजपाल शकुंतला देवी इंटर कॉलेज में 33 साल की एक महिला हाईस्कूल की परीक्षा देती पाई गई। महिला ने 2008 में कक्षा आठ पास किया था और पिछले शैक्षणिक सत्र में कक्षा नौ में प्रवेश लिया था। इस मामले में डीआईओएस ने केंद्र व्यवस्थापक को हटा दिया है।
UP Board Exam 2025
धनौरा तहसील क्षेत्र के परीक्षा केंद्र सूरजपाल शकुंतला देवी इंटर कालेज में 33 साल की महिला हाईस्कूल की परीक्षा देती मिलीं। जबकि उसने 2008 में कक्षा आठ पास किया था। पिछले शैक्षिक सत्र में उसने कक्षा नौ में प्रवेश लिया था। इसके अलावा केंद्र के स्ट्रांग रूम की अलमारी में रखी परीक्षा सामग्री भी सुरक्षित नहीं पाई गई।
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डीआईओएस ने केंद्र व्यवस्थापक को हटा दिया है। इस घटना से परीक्षा में शामिल अभ्यर्थियों के नामांकन कराने में शिक्षा विभाग की लापरवाही भी उजागर हुई है।

डीआईओएस विष्णु प्रताप सिंह पहली पाली में परीक्षा केंद्रों का जायजा लेने निकले। जब वह सूरजपाल शकुंतला देवी इंटर कॉलेज पहाड़पुर इनायत पहुंचे तो वहां एक महिला को परीक्षा देते देख उनका माथा ठनक गया। उन्होंने उसका प्रवेश पत्र देखा तो उसकी उम्र 33 साल थी। पूछने पर पता चला महिला परीक्षार्थी ने 2008 में कक्षा आठ पास किया था। वर्ष 2023 में कक्षा नौ में प्रवेश लिया था।
महिला को परीक्षा देने नहीं नहीं रोका
नियमत: पढ़ाई छोड़ने के दो वर्ष बाद किसी छात्र या छात्रा को हाईस्कूल में रेगुलर प्रवेश नहीं दिया जा सकता है। हालांकि, उसका पंजीकरण होने के चलते अधिकारी महिला को परीक्षा देने से नहीं रोक सके। इसके बाद डीआईओएस ने स्ट्रांग रूम देखा तो उसमें रखी अलमारी के कुंडे भी लटक रहे थे। अलमारियों की नंबरिंग और सील नहीं की गई थी।
मोबाइल कर लिया बंद
डीआईओएस ने बताया कि 22 फरवरी को भी अलमारी सील न होने पर केंद्र व्यवस्थापक एवं प्रधानाचार्या अंजलि चौधरी को फोन किया गया था। लेकिन उन्होंने मोबाइल बंद कर लिया था। केंद्र व्यवस्थापक ने कक्ष निरीक्षकों का डाटा भी आनलाइन पोर्टल पर अपलोड नहीं किया था। अनियमितताएं मिलने पर आरोपित केंद्र व्यवस्थापक को हटाकर उनकी जगह राजकीय इंटर कॉलेज बांसका कलां के शिक्षक हरिओम सिंह को केंद्र व्यवस्थापक नियुक्त कर दिया गया।
बताया केंद्र पर प्रधानाचार्य एवं केंद्र व्यवस्थापक अंजलि चौधरी ने नियम विरुद्ध महिला का कॉलेज में प्रवेश कराया है। यह कॉलेज निजी है, फिलहाल अंजलि को हटाया गया है, इसके आगे जांच कराकर कार्रवाई की जाएगी।
कॉलेज प्रबंधन की जिम्मेदारी
डीआईओएस ने बताया कि विद्यार्थी का प्रवेश लेते समय उसके शैक्षणिक प्रमाणपत्रों को जांचने की जिम्मेदारी कालेज प्रबंधन की होती है। सारी अर्हताएं पूरी करने पर ही कालेज प्रवेश लेता है। इसके बाद यूपी बोर्ड में पंजीकरण कराने के लिए कॉलेज प्रबंधन सारा ब्योरा सत्यापित कर बोर्ड को भेजता है। इसके बाद बोर्ड उसका पंजीकरण कर रोल नंबर जारी करता है। नियम विपरीत प्रवेश दिलाने पर संबंधित केंद्र व्यवस्थापक के खिलाफ कार्रवाई की जाती है।