शिक्षामित्रों-अनुदेशकों को दे रहे हैं डिजिटल लिटरेसी की ट्रेनिंग: बेसिक शिक्षा मंत्री संदीप सिंह

By Jaswant Singh

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शिक्षामित्रों-अनुदेशकों को दे रहे हैं डिजिटल लिटरेसी की ट्रेनिंग: बेसिक शिक्षा मंत्री संदीप सिंह

लखनऊ: बजट सत्र के नवें दिन, उत्तर प्रदेश विधानसभा में प्रश्नकाल के दौरान बेसिक शिक्षा मंत्री संदीप सिंह Sandeep Singh ने कहा कि राज्य सरकार government द्वारा शिक्षामित्रों shikshamitro और अनुदेशकों को डिजिटल लिटरेसी की विशेष ट्रेनिंग दी जा रही है। उन्होंने कहा कि इसके साथ ही कक्षा 6 से 8 तक के छात्रों को डिजिटल लिटरेसी और कंप्यूटर इंटेलिजेंस की सुविधाएं भी दी जा रही हैं, जिससे वे आधुनिक तकनीकों से जुड़ सकें। उन्होंने यह भी बताया कि कक्षा 1 से 5 तक के छात्रों को शिक्षामित्रों shikshamitro द्वारा पढ़ाया जाता है।

 जबकि कक्षा 6 से 8 के छात्रों की शिक्षा अनुदेशकों के माध्यम से कराई जाती है।मंत्री ने कहा कि बेसिक शिक्षा विभाग basic shiksha vibhag शिक्षकों teacher को कंप्यूटर, इंटरनेट और डिजिटल संसाधनों के व्यावहारिक ज्ञान की ट्रेनिंग training दे रहा है, जिससे वे छात्रों को प्रभावी तरीके से शिक्षण प्रदान कर सकें। इसके अलावा, उन्होंने सरकार government के डिजिटल इंडिया विजन के तहत शिक्षा shiksha व्यवस्था को सशक्त बनाने के लिए डिजिटल स्किल्स, आर्टिफिशियल इंटेलिजेंस और कोडिंग जैसी नई तकनीकों को शिक्षा shiksha में शामिल करने के लिए प्रतिबद्धता जाहिर की।

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मंत्री ने यह भी स्पष्ट किया कि सरकारb शिक्षा shiksha की गुणवत्ता सुधारने और डिजिटल संसाधनों को सुलभ बनाने के लिए लगातार प्रयासरत है। इसके तहत, शिक्षामित्र और अनुदेशकों को स्मार्ट क्लास, ऑनलाइन शिक्षण और डिजिटल टूल्स का प्रशिक्षण दिया जा रहा है, ताकि छात्रों students को तकनीकी रूप से सशक्त बनाया जा सके और भविष्य की चुनौतियों के लिए तैयार किया जा सके।

एक अन्य सवाल का जवाब देते हुए मंत्री संदीप सिंह Sandeep Singh ने परीक्षा प्रक्रियाओं और डिजिटल शिक्षा पर महत्वपूर्ण जानकारी information दी। उन्होंने बताया कि बच्चों के प्रश्नपत्र विद्यालयों तक पहुंचाए जाते हैं और कंपोजिट ग्रांट के माध्यम से पेपरों paper’s की छपाई कराई जाती है। हालांकि, कुछ विद्यालयों vidalaya में बजट की कमी के कारण पेपर की छपाई नहीं हो सकी, जिसके परिणामस्वरूप ब्लैकबोर्ड blackboard पर प्रश्न लिखकर छात्रों को दिए गए थे। मंत्री ने यह सुनिश्चित किया कि भविष्य में सभी विद्यालयों vidalaya में परीक्षाएं exam नियमित रूप से आयोजित की जाएंगी और प्रश्नपत्र बच्चों तक पहुंचाए जाएंगे।

 

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