स्कूलों के लिए आ गया नया फरमान, इतने दिन बच्चा स्कूल नहीं आया तो कट जाएगा नाम; आदेश जारी

By Jaswant Singh

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स्कूलों के लिए आ गया नया फरमान, इतने दिन बच्चा स्कूल नहीं आया तो कट जाएगा नाम; आदेश जारी

कौशांबी। अब 45 की जगह 30 या उससे अधिक दिन गायब रहने वाले छात्र को ड्रापआउट माना जाएगा। ऐसे छात्रों और अभिभावकों को शिक्षा से जोड़ने के लिए ट्रेनिंग दी जाएगी। ग्रीष्मावकाश बाद स्कूलों school में छात्रों की अनुपस्थिति कम करने के प्रयास किए जाएंगे।अपर मुख्य सचिव दीपक कुमार Dipak Kumar ने आउट आफ स्कूल out of school की परिभाषा में बदलाव करते हुए स्कूलों school को बच्चों के लिए विशेष अभियान चलाने के निर्देश दिए हैं।

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परिषदीय स्कूलों school में छात्रों की गैरहाजिरी और ड्रापआउट की समस्या से निपटने के लिए सख्त नियम लागू किए हैं। अब 30 दिनों day’s तक लगातार स्कूल School न आने वाले छात्रों को ड्रापआउट draft out माना जाएगा। यह पहल बच्चों की शिक्षा में निरंतरता बनाए रखने और ड्रापआउट दर को कम करने के उद्देश्य से की गई है।

लगातार अनुपस्थित रहने वाले छात्रों पर कड़ी निगरानी रखी जाएगी। स्कूल प्रशासन को छात्रों की गैरहाजिरी की रिपोर्ट Report समय-समय पर संबंधित अधिकारियों को देना अनिवार्य होगा, ताकि समय रहते उचित कदम उठाए जा सकें। अपर मुख्य सचिव दीपक कुमार ने डीएम DM को पत्र भेज निर्देशों का कड़ाई से पालन कराए जाने के लिए कहा है।

अनुपस्थिति बच्चों की होगी निगरानी

स्कूल प्रशासन को छात्रों की अनुपस्थिति की निगरानी करनी होगी। यदि कोई छात्र बिना किसी वैध कारण के लगातार 30 दिन से अधिक समय तक स्कूल School से अनुपस्थित रहता है तो उसे ड्रापआउट के रूप में चिह्नित किया जाएगा। अनुपस्थिति के मामले में स्कूल School प्रशासन को अभिभावकों से संपर्क करना होगा और उनकी काउंसिलिंग करनी होगी। यह कदम सरकारी विद्यालयों vidalaya में छात्रों की उपस्थिति सुनिश्चित करने और ड्रापआउट दर को कम करने के लिए उठाया गया है।

बच्चे तीन दिन स्कूल नहीं आए तो घर जाएगी बुलावा टोली परिषदीय विद्यालयों vidalaya में बच्चों की संख्या और उपस्थिति बढ़ाने को लेकर कवायद चल रही है। अब शिक्षा विभाग shiksha vibhag ने छात्रों की उपस्थिति बढ़ाने व ड्रापआउट कम करने के लिए प्रधानाध्यापकों, इंचार्ज प्रधानाध्यापकों headmaster को दिशा निर्देश जारी किए हैं।

3 दिन तक बच्चे के बिना कारण विद्यालय vidalaya न आने पर बुलावा टोली उनके घर जाकर कारण जानेगी। कोई बच्चा छह या इससे ज्यादा दिन तक अनुपस्थित रहता है तो प्रधानाध्यापक headmaster उसके घर जाकर संपर्क करेंगे।

छह से 14 साल के बालक माने जाएंगे बिना विद्यालय

6 से 14 साल year का कोई बालक नामांकित नहीं है तो वह बिना विद्यालय vidalaya का माना जाएगा। नामांकन के 1 साल में लगातार 30 दिन अनुपस्थित रहता है तो उसे आउट आफ स्कूल माना जाएगा। अगर वार्षिक मूल्यांकन में 35 फीसदी से कम नंबर मिले हैं तो ऐसे बच्चों के शैक्षिक स्तर में सुधार के लिए अतिरिक्त कक्षाएं चलाई जाएंगी। 1 माह में 6 दिन, तिमाही में 10 दिन और 6 माह में 15 दिन से अधिक गैरहाजिर रहने पर अभिभावकों की काउंसिलिंग की जाएगी।

स्कूलों school को निर्देशित किया गया है कि वह अनुपस्थित छात्रों पर लगातार नजर रखें और रिपोर्ट Report तैयार कर सौंपें। सरकार government का यह फैसला शिक्षा की गुणवत्ता बढ़ाने, ड्रापआउट दर घटाने और बच्चों को नियमित स्कूल लाने के प्रयासों का अहम हिस्सा बनेगा।- मधुसूदन हुल्गी, डीएम DM

अगर कोई छात्र 1 माह में छह, तिमाही में 10 दिन day या 6 माह में 15 दिन से अधिक अनुपस्थित रहता है तो उसके अभिभावकों को काउंसिलिंग के लिए बुलाया जाएगा। इसका मकसद बच्चों की नियमित उपस्थिति सुनिश्चित करना है।- डा. कमलेंद्र कुमार कुशवाहा, BSA।

 

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