Mid Day Meal 2025 News : स्कूलों के मिड डे मील में नहीं बनेगी भिंडी-बैगन और साग की सब्जी, नई गाइडलाइन जारी
सिवान के सरकारी स्कूलों में मध्याह्न भोजन को लेकर नया आदेश जारी हुआ है। बरसात में भिंडी बैगन साग पत्ता गोभी पर रोक है। प्रधानाध्यापकों को भोजन चखकर गुणवत्ता सुनिश्चित करने का निर्देश है। रसोई और खाद्य पदार्थों की सफाई पर जोर दिया गया है। आलू सोयाबीन जैसी वैकल्पिक सब्जियों की अनुमति है। अधिकारियों ने स्वच्छता और गुणवत्ता बनाए रखने की बात कही है।जागरण संवाददाता, सिवान। बरसात के मौसम के दौरान सरकारी स्कूलों में मध्याह्न भोजन में भिंडी, बैगन, साग और पत्ता गोभी की सब्जी नहीं बनेगी। इन सब्जियों पर तत्काल प्रभाव से रोक लगाया गया है।
इस संबंध में सभी स्कूलों के प्रधानाध्यापकों को निर्देश भी दिया गया है। निर्देश में यह भी कहा गया है कि बच्चों को परोसे जाने से पहले भोजन को हेडमास्टर खुद चखेंगे। साथ ही यह भी सुनिश्चित करेंगे कि भोजन बच्चों के लिए ठीक है अथवा नहीं।इसके साथ ही, बरसात के मौसम में रसोई घर, बर्तन समेत कच्चे खाद्य पदार्थों की साफ-सफाई को लेकर भी अलग से गाइडलाइन जारी किया गया है।
इसको लेकर जिला शिक्षा पदाधिकारी और मध्याह्न भोजन के डीपीओ को निर्देश दिया है कि बरसात के मौसम में योजना के सफल संचालन के लिए विद्यालय एवं रसोईघर-सह-भंडारगृह में विशेष साफ-सफाई की आवश्यकता है, ताकि किसी भी अप्रिय घटना से बचा जा सके।
निर्देश में साफ तौर पर कहा गया है कि स्वच्छता और भोजन की गुणवत्ता से समझौता बर्दाश्त नहीं किया जाएगा।
डीपीओ एमडीएम जय कुमार ने बताया कि बच्चों को वैकल्पिक सब्जियां दी जा सकती है। इसमें आलू, सोयाबीन सहित अन्य मौसमी सब्जियां यथा लौकी, करेला, टमाटर, गाजर को भी शामिल किया जा सकता है।
उन्होंने बताया कि बरसात के मौसम में आलू आसानी से उपलब्ध हो जाता है और यह पौष्टिक भी होता है। इसके अलावा सोयाबीन प्रोटीन का अच्छा स्रोत है और इसे विभिन्न सब्जियों के साथ मिलाकर बनाया जा सकता है।
एक्सपायरी डेट देखकर डिब्बा बंद खाद्य सामग्री का उपयोग करने का दिया गया है निर्देश
विद्यालय भ्रमण के दौरान वहां रसोईघर-सह-भंडारगृह की सफाई का विशेष पर्यवेक्षण किया जाए। मध्याह्न भोजन की कच्ची खाद्य सामग्री की गुणवत्ता सुनिश्चित करने के बाद ही इसका उपयोग किया जाए। डिब्बाबंद खाद्य सामग्री का उपयोग एक्सपायरी डेट देखकर किया जाए।
नमी से बचाव को खाद्य सामग्री का उचित तरीके से भंडारण कराया जाए। विद्यालय प्रांगण एवं रसोई के बगल में जल स्त्रोत व शौचालय की सफाई अनिवार्य रूप से करवाई जाए। विद्यालय एवं रसोई से निकले कचरा के निपटान के लिए कचरा प्रबंधन की समुचित प्रक्रिया अपनाई जाए।